रेत घाट बंद कर देने से चोरी के मामले बढ़े, नया रास्ता बना लिया चोरों ने, कई प्रकार की चुनौतियां

Acn18.com/तकनीकी कारणों से कोरबा क्षेत्र में रेट घाटों का संचालन बंद कर दिया गया है। रेत की चोरी करने वाला वर्ग पुरी शक्ति के साथ इस काम में जुटा हुआ है। मनमाने तरीके से किए जा रहे कामकाज के साथ चोरों ने अपने वाहनों के लिए नए रास्ते बना दिए हैं। इस वजह से इलाके में कई प्रकार की समस्याएं खड़ी हो गई । लोग हैरानी जताते है कि आखिर प्रशासन इस पूरे कारनामे को आंख मूंदकर क्यों देख रहा है।

नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के द्वारा 15 जून से 4 महीने के लिए रेट घाटो का संचालन बंद कर दिया गया है। ऐसे में स्टोरेज की अनुमति लेने वाला वर्ग और चोरी चकारी में शामिल लोगों के द्वारा मनमाने तरीके से कार्यों को अंजाम दिया जा रहा है। खास तौर पर सीतामढ़ी के बंद पड़े रेट घाट से हर रोज बड़ी मात्रा में रेत की चोरी की जा रही है। मीडिया के लोगों ने रास्ते पर ऐसे कई वाहनों को देखने के साथ उन्हें रुकवाया और पूछताछ की। बिना नंबर की गाड़ी और बिना रॉयल्टी के काम कर रहे चालकों के पास सवालों का केवल एक जवाब था की इस अवैध काम के बारे में गाड़ी मालिक को जानकारी है।

लोगों ने बताया कि चोरों के द्वारा अपनी सुविधा के लिए नया रास्ता तैयार कर लिया गया है।। ऐसे में विद्यार्थियों से लेकर नागरिकों को कई प्रकार की परेशानी जल्दी पड़ रही है। साथ ही अनहोनी होने का डर भी बना हुआ है।

क्षेत्र के पार्षद बताते हैं कि रेट खनन और परिवहन का काम अवैध रूप से किया जा रहा है। लगातार बड़ी मात्रा में ट्रैक्टर यहां से चोरी की रेट पार कर रहे हैं। गतिविधियों की रोकथाम के लिए जो व्यवस्थाएं की गई थी उन्हें नष्ट कर दिया गया है और कर बेख़ौफ़ होकर अपने काम को परवान चढ़ा रहे हैं। पूरे मामले में प्रशासन और माइनिंग विभाग उदासीन बना हुआ है।

रेट की चोरी और परिवहन संबंधी गतिविधियों के कारण सीतामढ़ी इमली डुग्गू क्षेत्र में पहले भी दुर्घटनाएं हो चुके हैं और इस दौरान अप्रिय स्थिति निर्मित हुई है इन सबके मौजूद इस प्रकार के कारनामे आखिर किसके संरक्षण में चल रहे हैं यह अपने आप में एक बड़ा सवाल है