Acn18.com/बालोद जिले के दल्लीराजहरा में अखिल भारतीय हल्बा-हल्बी आदिवासी समाज के 83वें स्थापना दिवस में छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल भी पहुंचे। शुक्रवार को मुख्यमंत्री कार्यक्रम में पहुंचे, जहां उनका स्वागत पारंपरिक रीति-रिवाज से किया गया। मंच पर पहुंचने से पहले सीएम भूपेश ने मां दंतेश्वरी की पूजा-अर्चना की।
मुख्यमंत्री ने जिले के डौंडी और डौंडीलोहारा विकासखंड में देवगुड़ियों के निर्माण एवं जीर्णोद्धार के लिए एक करोड़ रुपये की राशि प्रदान करने और शासकीय महाविद्यालय मनचुआ का नामकरण शहीद गैंद सिंह के नाम से करने की घोषणा की।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के साथ कांग्रेस की छत्तीसगढ़ प्रभारी कुमारी सेलजा, विधानसभा अध्यक्ष चरणदास महंत, मंत्री अनिला भेंडिया, विधायक संगीता सिन्हा, विधायक कुंवर सिंह निषाद सहित कलेक्टर कुलदीप शर्मा, एसपी जितेंद्र यादव और आदिवासी समाज के प्रतिनिधि मौजूद रहे। कार्यक्रम स्थल पर पहुंचने के बाद सीएम ने सबसे पहले हल्बा समाज की आराध्य देवी माता दंतेश्वरी, छत्तीसगढ़ महतारी, शहीद बिरसा मुंडा और गैंद सिंह के तैल चित्र पर दीप प्रज्वलन और माल्यार्पण कर कार्यक्रम का विधिवत शुभारंभ किया।
आदिवासी हल्बा-हल्बी समाज की मांग पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने नई राजधानी में समाज के लिए जमीन और भवन के लिए राशि देने की बात कही। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ में हल्बा समाज ने हर वर्ग में अपना वर्चस्व स्थापित किया है। उन्होंने इसके लिए दिवंगत झुमुक लाल भेंडिया का उदाहरण दिया। उन्होंने कहा कि आज विभिन्न जगहों पर उद्योग स्थापित किए जा रहे हैं, इस समाज के युवा कलेक्टर-एसपी बन रहे हैं। सीएम ने कहा कि पहाड़ के लोगों की समस्या पहाड़ जैसी होती है। इन सबको ध्यान में रखते हुए हमने 6 जिले और 11 संभाग बनाए। हमने सब को सुविधा देने के लिए छोटी इकाई बनाई, पूरे देश में 5 साल में इतने तहसील कहीं नहीं बने होंगे। उन्होंने कहा कि जाति प्रमाण पत्र बनाने के लिए पहले प्रक्रिया काफी जटिल थी, इसे हमने सरल किया है।
धान खरीदी को लेकर सीएम भूपेश ने कही बात
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि हमने धान खरीदी केंद्रों की संख्या बढ़ाई, जिसके परिणाम स्वरूप इस साल 160 लाख मीट्रिक टन धान खरीदी हुई। बस्तर सहित अन्य जगहों पर रकबा बढ़ा। उन्होंने मिलेट्स के समर्थन मूल्य को लेकर केंद्र पर घोषणा ना करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि हमारा प्रयास है कि छत्तीसगढ़ के लोगों की आय कैसे बढ़े, स्थानीय चीजों का सदुपयोग कैसे हो, इन सब बात का ध्यान रखना है। पिछली भाजपा सरकार ने 3 हजार स्कूल बंद किए, पर हमने स्कूल खुलवाए। हमने आदिवासी नेतृत्व बढ़ाने का काम किया। उन्होंने विभिन्न गांवों में देवगुड़ी बनाने के लिए 1 करोड़ रुपए देने की घोषणा की। सीएम ने कहा कि पहली बार हमने अंतरराष्ट्रीय आदिवासी नृत्य महोत्सव भी कराया।
कुमारी सेलजा ने बीजेपी, RSS पर कसा तंज
पूर्व केंद्रीय मंत्री एवं छत्तीसगढ़ कांग्रेस प्रभारी कुमारी सेलजा ने कहा कि आज हम यहां ऐसे सपूतों को याद करने के लिए जमा हुए हैं, जिन्होंने देश की रक्षा के लिए अपने प्राण दे दिए। शहीद गैंद सिंह ने अपना बलिदान दिया, पूरे देश को इन पर नाज है।
उन्होंने कहा कि समाज को आगे बढ़ाने के लिए सबको अपना-अपना कार्य करना पड़ता है। समाज अपना काम करता है, परिवार अपना काम करता है और सरकार अपना काम करती है। उन्होंने मंच से आरएसएस और भाजपा पर तंज कसते हुए कहा कि बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर संविधान निर्माता हैं, लेकिन बीजेपी, RSS के लोग जनता को बरगलाने का काम कर रहे हैं। दोस्तों हमें इससे सावधान रहना है।
मुख्यमंत्री ने खोजा विकास का रास्ता- चरणदास महंत
विधानसभा अध्यक्ष चरणदास महंत ने कहा कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने समाज को जगाया, विकास का रास्ता खोजकर दिया। 65 वनोपजों के लिए समर्थन मूल्य जारी किया। उन्होंने कहा कि आदिवासी समाज की सरलता, सहजता, उदारता प्रकृति की देन है। उन्होंने कहा कि बिरसा मुंडा, शहीद गैंदसिंह जैसे नायकों ने आपको संघर्ष करना सिखाया।
महात्मा गांधी के विचारों को किया आत्मसात
प्रदेश की महिला एवं बाल विकास मंत्री अनिला भेंडिया ने आयोजन को संबोधित करते हुए कहा कि आज हमारे आदिवासी समाज के महानायक बिरसा मुंडा की पुण्यतिथि है। उनकी मृत्यु 9 जून 1900 को हुई थी। आज से 83 वर्ष पूर्व हल्बा-हल्बी समाज का यह अधिवेशन झरन दल्ली में कराया गया था। आज भी यह परंपरा चल रही है। आज ये अधिवेशन राजहरा में हुआ है। मुख्यमंत्री आए, तो यह गौरवान्वित हो गया।
8 सीटों पर लड़ना है चुनाव
आदिवासी समाज की ओर से डॉक्टर देवेंद्र माहला ने कहा कि हल्बा-हल्बी समाज पूरे देश में केंद्रीय महासभा के रूप में काम कर रहा है। पूरे छत्तीसगढ़ में तीसरे नम्बर पर जनसंख्या की दृष्टिकोण से स्थापित है। राजनीति में भी समाज ने अपनी सीट मांगी और मुख्यमंत्री एवं छत्तीसगढ़ प्रभारी से कहा है कि प्रदेश में 8 सीटों पर चुनाव लड़ने का मौका दिया जाए। समाज की तरफ से मांग की गई है कि नया रायपुर में 5 एकड़ जमीन दी जाए, जिसका उपयोग समाज द्वारा स्कूल और अस्पताल बनाने में किया जाएगा।