Acn18.com/गरियाबंद जिले में बड़ी कार्रवाई करते हुए 6 वन्य जीव तस्करों को गिरफ्तार किया गया है। तस्करों के पास से बाघ की खाल, 4 जिंदा मोर और बड़ी मात्रा में तेंदुआ, भालू, मोर के खाल, दांत-नाखून जब्त किए गए हैं। उदंती सीतानदी टाइगर रिजर्व गरियाबंद और वन परिक्षेत्र खरियार ओडिशा की संयुक्त टीम ने कार्रवाई की है।
जानकारी के मुताबिक, उदंती सीतानदी टाइगर रिजर्व गरियाबंद में गठित एंटी पोचिंग टीम को मुखबिरों से सूचना मिली थी कि छत्तीसगढ़-ओडिशा बॉर्डर से लगे ग्राम खुडूपानी के निवासी बदन मांझी ने एक बाघ का शिकार कर उसके खाल को अपने घर में रखा है। इसके बाद 3 जून को एंटी पोटिंग टीम उदंती सीतानदी टाइगर रिजर्व और वन परिक्षेत्र खरियार ओडिशा के स्टाफ ने संयुक्त रूप से सर्च वारंट जारी कर बदन मांझी के घर की तलाशी ली।
आरोपी ग्रामीण के घर से बाघ की खाल, 4 जिंदा मोर के बच्चे, बड़ी मात्रा में तीर-कमान, फंदा, तार और शिकार करने की अन्य सामग्री बरामद हुई। इसके बाद उसे हिरासत में लेकर वन परिक्षेत्र कार्यालय खरियार ओडिशा ले जाया गया। पूछताछ में ग्रामीण ने बताया कि ग्राम चिखलचुंवा निवासी खगेश्वर मांझी, ग्राम पाठदरहा निवासी विद्याधर मांझी, बड़मांझी, सचिन मांझी और ग्राम भालुडोंगरी निवासी अच्युतानंद मांझी के घर पर भी वन्यप्राणियों के खाल और अन्य अवशेष हैं।
जानकारी मिलने पर इन पांचों के घर की भी तलाशी संयुक्त टीम ने ली, जिसमें तेंदुए के नाखून, मांस, पंजा, भालू का पंजा, प्राइवेट पार्ट, साही मुर्गी की आंत, मोर के पंख, कोटरी का मांस, भरमार बंदूक, तीर, कमान, जाली बरामद हुए, जिन्हें जब्त कर लिया गया है। बाघ के शिकार की पुष्टि ने एक बार फिर से वन विभाग को चिंता में डाल दिया है।
इन 5 गिरफ्तार आरोपियों को खरियार कोर्ट में पेश किया गया। पांचों आरोपियों के नाम बदन मांझी (45 वर्ष), निवासी खाडुपानी, सचिन मांझी (36 वर्ष), निवासी पाठदरहा, बड़ा मांझी (61 वर्ष), निवासी पाठदरहा, अच्युतानंद मांझी (23 वर्ष), निवासी भालुडोंगरी, खगेश्वर मांझी (62 वर्ष), निवासी चिखलाचुंवा, जिला नुवापाड़ा (ओडिशा) हैं।
वहीं एक आरोपी विद्याधर मांझी (31 वर्ष) निवासी पाठदरहा को डिटेन कर उदंती सीतानदी टाइगर रिजर्व एंटी पोचिंग टीम को 5 जून को सुपुर्द किया गया है। विद्याधर को वन परिक्षेत्र कुल्हाड़ीघाट के कुकरार बीट से लगे ओडिशा वनक्षेत्र सुनाधस जलप्रपात के पास घटनास्थल की शिनाख्त करने के लिए ले गए, जहां आरोपी द्वारा खाल के छिपे होने की जगह बताई गई। 6 जून को आरोपी ने अन्य शिकारियों के नाम भी बताए हैं, जिनकी तलाश की जा रही है।
देहरादून भेजे जाएंगे बाघ की खाल, नाखून और दांत को
बदन सिंह मांझी के घर से बरामद बाघ की खाल, नाखून और दांत को जांच के लिए देहरादून भेजा जाएगा, ताकि उसके डीएनए का मिलान उदंती सीतानदी टाइगर रिजर्व से पिछले डेढ़ सालों में भेजे गए बाघ के 5 मल सैंपल के डीएनए से मैच किया दा सके। सुनाबेड़ा अभयारण्य और खरियार वनमंडल के द्वारा कोई भी मल सैंपल या ट्रैप कैमरा फोटो पिछले सालों में देहरादून को नहीं भेजे गए हैं।
जांच में ये भी पाया गया है कि जिस बाघ की खाल बरामद हुई है, उसे आरोपी ने सड़ी-गली हालत में खाजुपानी (ओडिशा) के जंगल में 2 माह पहले पाया था। इसके कई टुकड़े कर शिकारियों ने आपस में बांट लिए। गिरफ्तार शिकारी से 6 अन्य लोगों के नाम भी सामने आए हैं, जो बाघ, तेंदुआ और अन्य वन्यप्राणियों के शिकार में शामिल हैं।