रायपुर सनातन समाज अपने धर्म के लिए जाग जाए. देश में 22 जनवरी 2024 (अयोध्या में राम लला की प्राण प्रतिष्ठा) जैसा दिन फिर से आएगा. बहुत जल्द मथुरा की कृष्ण जन्मभूमि और ज्ञानवापी भी हमारा होगा. यह बात राजधानी में रविवार को कुंदनलाल जैन विचार मंच की ओर से आयोजित में “राष्ट्र गौरव का पुनर्जागरण व्याख्यान” कार्यक्रम में मुख्य वक्ता राम जन्मभूमि, कृष्ण जन्म भूमि और ज्ञानवापी मामलों में मुख्य अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने कही. मेडिकल कॉलेज स्थित ऑडिटेरियम में जैन मुनि श्री विराग और RSS के मध्य क्षेत्र के संघचालक पूर्णेदु सक्सेना के साथ बड़ी संख्या में मौजूद लोगों को संबोधित करते हुए अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने कहा कि मंदिरों में दिए गए दान पर सरकार का हक़ है, लेकिन मस्जिदों में नहीं. इसको लेकर देश के अलग-अलग राज्यों में कई पीआईएल दर्ज है. – ड्रग्स के पूरे नेटवर्क को खत्म करने NCB सशक्त उन्होंने कहा कि कर्नाटक में 34 हज़ार मंदिर सरकार ने अधिग्रहित किया है. जिन मंदिरों में चढ़ावा ज़्यादा होता है, उन्हीं मंदिरों को सरकार अधिग्रहित करती है, लेकिन मस्जिदों में अधिग्रहित नहीं करती है. मिस मैनेजमेंट के नाम पर सरकार मंदिरों को अधिग्रहित करती है, क्या यह मिस मैनेजमेंट मस्जिदों में नहीं दिखता. अधिवक्ता विष्णु शंकर जैन ने कहा कि मंदिर तोड़ने से देवता का अस्तित्व खत्म नहीं होता. देवता की संपत्ति के साथ कोई समझौता नहीं होगा. इस समय साजिश चल रही है कि जैन हिंदू समाज से अलग है. वक्फ बोर्ड बिल पर विष्णु शंकर जैन ने कहा इसके लिए केंद्र सरकार को धन्यवाद देना चाहिए. सरकारी संपत्ति को वक्फ अपनी संपत्ति नहीं कह सकती. बिल से वक्फ के अधिकार को शून्य करने का काम किया है. उन्होंने कहा कि कुछ नेता बांग्लादेश जैसी घटना देश में होने की बात कहते हैं. केंद्र सरकार को ऐसे बयान देने वालों पर कार्रवाई करनी चाहिए.
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