acn18.com काठमांडू /राम चंद्र पौडेल नेपाल के राष्ट्रपति चुने गए हैं। पौडेल ने सुभाष चंद्र नेमबांग को हराया है। नेपाल चुनाव आयुक्त ने जानकारी देते हुए कहा कि पौडेल ने 33,802 चुनावी वोट हासिल किए, जबकि उनके प्रतिद्वंद्वी सुभाष चंद्र नेमबांग ने 15,518 चुनावी वोट हासिल किए।
राम चंद्र पौडेल को नेपाली कांग्रेस और सीपीएन (माओवादी सेंटर) सहित आठ दलों के गठबंधन के 214 सांसदों और 352 प्रांतीय विधानसभा सदस्यों के वोट मिले। नेपाली कांग्रेस के प्रमुख शेर बहादुर देउबा ने ट्वीट किया कि मेरे मित्र राम चंद्र पौडेल को राष्ट्रपति चुने जाने पर हार्दिक बधाई। चुनाव आयोग के प्रवक्ता शालिग्राम ने कहा कि 518 प्रांतीय विधानसभा सदस्यों और संघीय संसद के 313 सदस्यों ने राष्ट्रपति चुनाव में मतदान किया। नेपाल में 2008 में गणतंत्र बनने के बाद से यह तीसरा राष्ट्रपति चुनाव है।
इससे पहले नेपाल में राष्ट्रपति पद के लिए गुरुवार को मतदान हुआ। चुनाव आयोग ने बुधवार को चुनाव की सारी तैयारियों और नतीजों के बारे में जानकारी दी थी। राष्ट्रपति पद के लिए मतदान संसद के ल्होत्से हॉल में हुआ। नेपाली कांग्रेस के उम्मीदवार राम चंद्र पौडेल का मुकाबला सीपीएन-यूएमएल के नेता और उपाध्यक्ष सुभाष चंद्र नेमबांग से था। नेपाली राष्ट्रपति पद के लिए मतदान सुबह 10 बजे शुरू हुआ और शाम में तीन बजे तक चला।
चुनाव आयोग ने राष्ट्रपति चुनाव के मतदान के लिए दो अलग पोलिंग बूथ बनाए थे, इनमें से एक पोलिंग बूथ पर संसद सदस्यों ने मतदान किया और दूसरे पोलिंग बूथ में प्रांतीय विधानसभाओं के सदस्यों ने वोट डाला। सभी विधानसभाओं के सदस्य राष्ट्रपति चुनाव में मतदान के लिए राजधानी काठमांडू पहुंचे थे।
राम चंद्र पौडेल का पलड़ा था भारी
नेपाली कांग्रेस के उम्मीदवार और पार्टी के वरिष्ठ नेता राम चंद्र पौडेल को आठ पार्टियों का समर्थन प्राप्त था। जिनमें प्रधानमंत्री प्रचंड की पार्टी भी शामिल थी। वहीं, सीपीएन-यूएमएल के उम्मीदवार सुभाष चंद्र नेमबांग को अपनी पार्टी के अलावा सिर्फ निर्दलीय उम्मीदवारों के समर्थन की ही उम्मीद थी।
ऐसे समझें चुनाव गणित
नेपाल के इलेक्टोरल कॉलेज में 884 सदस्य हैं, इनमें 275 सदस्य वहां की लोकसभा और 59 राज्यसभा और 550 सात प्रांतीय विधानसभाओं के हैं। संसद सदस्य के एक वोट का वेटेज 79 है और प्रांतीय विधानसभा के एक वोट का वेटेज 48 है। इस तरह अगर सभी सदस्य वोट करते हैं तो इलेक्टोरल कॉलेज के कुल वोट 52,786 होंगे। राष्ट्रपति पद का चुनाव जीतने के लिए उम्मीदवार को इन्हीं वोटों में से सबसे ज्यादा वोट पाने होते हैं। राजशाही समर्थक मानी जाने वाली पार्टी राष्ट्रीय प्रजातंत्र पार्टी, राष्ट्रपति चुनाव में हिस्सा नहीं लेगी और पार्टी ने चुनाव में शामिल नहीं होने का फैसला किया था।
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