Acn18.com/14 अप्रैल को बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर की जयंती मनाई जाती है। इस दिन साल 1891 को मध्य प्रदेश के महू के एक गांव में भीमराव अंबेडकर का जन्म हुआ था। बचपन से ही उन्हें आर्थिक और सामाजिक भेदभाव का सामना करना पड़ा। स्कूल में छुआछूत और जाति-पाति का भेदभाव झेलना पड़ा। विषम परिस्थितियों के बाद भी अंबेडकर ने अपनी पढ़ाई पूरी की। ये उनकी काबलियत और मेहनत का ही परिणाम है कि अंबेडकर ने 32 डिग्री हासिल की। विदेश से डॉक्टरेट की डिग्री प्राप्त की। इसके बाद भारत में दलित समाज के उत्थान के लिए काम करना शुरू किया। संविधान सभा के अध्यक्ष बने और आजादी के बाद भारत के संविधान के निर्माण में अभूतपूर्व योगदान दिया। जीवन के हर पड़ाव पर संघर्षों को पार करते हुए उनकी सफलता हर किसी के लिए प्रेरणा है।
बाबा साहेब की जयंती के मौके पर उनके अनमोल विचारों को जानकर अपने जीवन में उतारें।
मैं ऐसे धर्म को मानता हूं जो स्वतंत्रता, समानता और भाईचारा सिखाता है।
यदि मुझे लगा कि संविधान का दुरुपयोग किया जा रहा है, तो मैं इसे सबसे पहले जलाऊंगा।
जो व्यक्ति अपनी मौत को हमेशा याद रखता है, वह सदा अच्छे कार्य में लगा रहता है।
अपने भाग्य के बजाए अपनी मजबूती पर विश्वास करो।
जीवन लंबा होने के बजाए महान होना चाहिए।
जब तक आप सामाजिक स्वतंत्रता नहीं हासिल कर लेते, कानून आपको जो भी स्वतंत्रता देता है वो आपके लिए बेईमानी है।