ACN18.COM रायपुर/ रायपुर के गायत्री नगर में जगन्नाथ रथ यात्रा का जश्न पुरी की तर्ज पर होगा। पुरी की ही तरह रथों को सजाया गया है। भगवान इसकी सवारी करेंगे। शुक्रवार काे यहां महाप्रभु के महापर्व से जुड़ी छटा देखने को मिलेगी। इसे लेकर खास तैयारियां भी की गईं हैं। उत्कल महासभा के प्रदेश अध्यक्ष राधे श्याम विभार ने बताया कि यहां कार्यक्रम में प्रदेश की राज्यपाल अनुसुइया उइके, मुख्यमंत्री भूपेश बघेल समेत तमाम सियासी दिग्गज शामिल होंगे।
आयोजन समिति ने गायत्री नगर में तीन रथ तैयार करवाए हैं। इसी तरह पुरी में भी रथ यात्रा निकलती है। जिस रथ में जगन्नाथ विराजेंगे उसे ‘नंदीघोष कहा जाता है। भाई बलराम जी के रथ का नाम ‘तालध्वज’ है,बहन सुभद्रा जी ‘दर्पदलन’ रथ पर सवार होती हैं। ये तीनों रथ शुक्रवार को लोगों के दर्शन के लिए मौजूद रहेंगे।
यहां भगवान के लिए पुरी से आती है जड़ी बूटियां
मान्यता के मुताबिक गायत्री नगर के जगन्नाथ मंदिर में स्नान पूर्णिमा के बाद से ही बीमार हैं। पिछले करीब 15 दिनों से भगवान जगन्नाथ को काढ़ा दिया जा रहा था। इसके लिए जगन्नाथ पुरी और ओडिशा के नरसिंह नाथ से जड़ी-बूटियां हर साल रायपुर आती हैं। इसी से बने काढ़े का भोग भगवान को लगता है।
शहर में करीब 10 रथ निकलेंगे
टुरी हटरी, पुरानी बस्ती स्थित 500 साल पुराने जगन्नााथ मंदिर में महंत रामसुंदर दास के नेतृत्व में अभिषेक, हवन-पूजन के बाद दोपहर बाद रथयात्रा निकाली जाएगी। दोपहर 2:30 बजे भगवान जगन्नाथ जी, माता सुभद्रा और बलदाऊ जी रथ पर विराजित होंगे। इसके बाद लोहार चौक, पुरानी बस्ती थाना, कंकालीन तालाब, तात्या पारा चौक, आजाद चौक, आमापारा चौक होते हुए लाखे नगर चौक तथा टिल्लू चौक पहुंचेंगे। यहां भगवान जनकपुर में विश्राम करेंगे।
सदरबाजार स्थित 150 साल पुराने जगन्नााथ मंदिर में पुजारी परिवार के नेतृत्व में पूजन के बाद गाजे-बाजे के साथ यात्रा निकाली जाएगी। यात्रा कोतवाली चौक, कालीबाड़ी होते हुए टिकरापारा पुजारी पार्क के समीप गुंडिचा मंदिर में समाप्त होगी।
इसके अलावा कोटा स्थित श्रीरामदरबार परिसर, अश्विनी नगर, गुढ़ियारी, आकाशवाणी कालोनी, पुराना मंत्रालय, लिली चौक और आमापारा नगर निगम कालोनी से और बढ़ई पारा से भी दिन भर रथ यात्राएं निकलेंगी।
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